9000 KMPH स्‍पीड, 8000 किलोमीटर रेंज, ब्रह्मोस से ज्‍यादा प्रचंड

9000 KMPH स्‍पीड, 8000 किलोमीटर रेंज, ब्रह्मोस से ज्‍यादा प्रचंड

‘इंडियन डिफेंस रिसर्च विंग’ ने K-6 हाइपरसोनिक बैलिस्टिक मिसाइल को लेकर बड़ी जानकारी दी है. उन्‍होंने बताया कि डीआरडीओ K-6 एसएलबीएम को डेवलप करने में जुटा है. उनकी मानें तो इसे समंदर के अंदर से पनडुब्‍बी से दुश्‍मनों के खिलाफ लॉन्‍च किया जा सकता है. यह मिसाइल 7.5 मैक यानी तकरीबन 9261 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से टारगेट की ओर मूव कर सकता है. K-6 क्‍लास की बैलिस्टिक मिसाइल की रफ्तार इतनी ज्‍यादा है कि दुश्‍मनों को संभलने तक मौका नहीं मिलेगा. गौर करने वाली बात यह है कि पाकिस्‍तान के गर्दन की नस और इकोनोमी की रीढ़ कहा जाने वाला कराची अरब सागर तट पर स्थित है. यह भारत की समुद्री सीमा से बेहद करीब है. ऐसे में प्रतिकूल हालात में भारत एक ही झटके में पाकिस्‍तान की अर्थव्‍यवस्‍था की रीढ़ को तोड़ सकता है. K-6 हाइपरसोनिक मिसाइल इंडियन नेवी के लिए ब्रह्मास्‍त्र की तरह है. अब डीआरडीओ की ओर से डेवलप किए जा रहे K-6 एसएलबीएम की रेंज के बारे में बात करते है. ब्रह्मोस मिसाइल प्रोजेक्‍ट से जुड़े पूर्व वैज्ञानिक का कहना है कि इस बैलिस्टिक मिसाइल की रेंज 8000 किलोमीटर होगी. इस तरह पूरा पाकिस्‍तान ही K-6 की जद में होगा. बता दें कि भारत इससे पहले K-3 (1000 से 2000 किलोमीटर रेंज), K-4 (3500 किलोमीटर रेंज) और K-5 (5000 से 6000 किलोमीटर रेंज) एसएलबीएम की सफल टेस्टिंग कर चुका है. K-4 और K-5 को पहले ही इंडियन नेवी में शामिल किया जा चुका है. K-6 के ऑपरेशनल होने के बाद भारत के बाद लैंड और मैरीटाइम सिक्‍योरिटी के लिहाज से बैलिस्टिक मिसाइल की खतरनाक जोड़ी उपलब्‍ध हो जाएगी. समंदर के अंदर से K-6 और जमीन से अग्नि-5 ICBM किसी भी दुश्‍मन को पलभर में खाक में मिलाने में सक्षम होगी. K-6 एसएलबीम को हैदराबाद स्थित डीआरडीओ के एडवांस्‍ड नेवल सिस्‍टम्‍स लेबोरेट्री में डेवलप किया जा रहा है. K-6 को खासतौर पर S-5 SSBN क्‍लास सबमरीन के लिए डेवलप किया जा रहा है. S-5 SSBN क्‍लास सबमरीन अरिहंत पनडुब्‍बी के मुकाबले ज्‍यादा अपडेट, एडवांस्‍ड और घातक है. इस सबमरीन के 12 मीटर लंबी और 2 मीटर चौड़ी होने की बात कही जा रही है. साथ ही दो से तीन टन तक वॉरहेड ले जाने में कैपेबल होगी. सबसे बड़ी बात यह है कि के-6 क्‍लास की बैलिस्टिक मिसाइल MIRV से भी लैस होगी. इससे इसकी क्षमता और बढ़ जाती है.